स्वाधीनता का अमृत महोत्सव
मध्यभारत के गुमनाम नायक (Unsung Heroes) ……
रामनिवास शर्मा
रामनिवास शर्मा का जन्म 10 अक्टूबर 1914 ई. में हुआ। आपके पिता का नाम चिन्तालाल। ।आपने माध्यमिक शिक्षा उत्तीर्ण करने के पश्चात् ही छात्र जीवन से ही देश कार्य में दिलचस्पी लेना आरम्भ किया। किंतु आत्म निर्भरता हेतु अम्बाह तहसील में कुछ वर्षों तक कार्य करते रहे।
सन् 1936 से ग्वालियर राज्य सार्वजनिक सभा के राज्यव्यापी स्वरूप ग्रहण के समय से सक्रिय भाग लेना आरम्भ किया। सन् 1942 भारत छोड़ो आन्दोलन में भाग लिया । आप सन् 1942 में श्री यशवन्त सिंह कुशवाह के साथ ग्वालियर, सबलगढ़ और मुंगावली जेलों में 30 जून 1943 तक रहे। जेल से रिहा होने के बाद मुरैना जिला कांग्रेस के उपाध्यक्ष बनाये गये।
सन् 1947 के बाद हमारा देश आजाद होने के बाद आप महामंत्री के रूप में चुने गये। इसके बाद अम्बाह से सन् 1957 की मध्यप्रदेश विधानसभा के सदस्य रहे। विधानसभा सदस्य रहने के साथ-साथ मुरैना जिले की राजनीति में अग्रणी के रूप में कार्यरत रहे।
राजनीति में सक्रिय भागीदारी निभाने साथ अनेक सम्मेलनों में आपने योगदान दिया। आप धार्मिक समारोह में भी भागीदारी करते रहे।